प्रेम ही परम साधना है: कृष्ण का अमृत संदेश
प्रिय शिष्य,
तुम्हारा यह प्रश्न हृदय की गहराई से उठता है—क्यों कृष्ण ज्ञान या अनुष्ठानों की अपेक्षा प्रेम को सर्वोपरि मानते हैं? यह प्रश्न अपने आप में भक्ति का सार समझने की एक पावन इच्छा है। चलो, इस दिव्य संवाद में हम उस प्रेम के रहस्य को समझें, जो कृष्ण ने हमें दिया है।