जब अंधकार छाए, तो विश्वास की ज्योति जलाएं
साधक, मैं समझता हूँ कि जब जीवन के बादल घने हो जाते हैं, और मन निराशा की गहराइयों में डूबता है, तब हर कदम भारी लगता है। तुम्हारा यह अनुभव अकेला नहीं है, हर महान योद्धा के जीवन में ऐसे क्षण आए हैं। भगवद गीता हमें बताती है कि निराशा के अंधकार में भी विश्वास की एक लौ जलती रहती है, जिसे हम कभी नहीं खोना चाहिए।